शरद पूर्णिमा पर खंडग्रास चंद्रग्रहण

🌘 *शरद पूर्णिमा पर खंडग्रास चंद्रग्रहण*🌒
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संवत 2080 की आश्विन पूर्णिमा दिनांक 28 अक्टूबर 2023 की रात्रि में भारत में खंडग्रास चंद्रग्रहण लगने वाला है। यह ग्रहण मेष राशि, मकर लग्न और अश्विनी नक्षत्र में लगने जा रहा है।
सभी राशियों के लिए विभिन्न प्रकार के फल प्राप्त होंगे(कपिल शर्मा काशी)

🌖 *1 घंटे 19 मिनट रहेगा ग्रहण*🌖
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*ज्योतिषीय गणना के मुताबिक खंडग्रास चंद्रग्रहण का स्पर्श 28 अक्टूबर को रात्रि में 1 बजकर 5 मिनट से होगा।* *ग्रहण का मध्य रात्रि 1:44 बजे होगा और ग्रहण का मोक्ष रात्रि 2:24 बजे होगा।*
*ग्रहण की कुल अवधि 1 घंटे 19 मिनट रहेगी।*

🌖 *9 घंटे पूर्व रहेगा सूतक* 🌖

चंद्रग्रहण का सूतक ग्रहण प्रारंभ होने के 9 घंटे पूर्व प्रारंभ हो जाता है।
अर्थात् 28 अक्टूबर को सायं 4 बजकर 5 मिनट से ग्रहण का सूतक प्रारंभ हो जाएगा। (पं कपिल शर्मा काशी)
ग्रहण के सूतक काल और ग्रहण अवधि में कुछ भी खाना-पीना वर्जित रहता है
किंतु बालक, वृद्ध, गर्भवती महिलाएं, रोगी को आवश्यक हो तो खान पान कर सकते हैं।
ग्रहण समाप्ति के बाद जल में गंगा आदि पवित्र नदियों का जल डालकर स्नान करना चाहिए।

इस दिन शरद पूर्णिमा है तो खीर साबूदाने,या मखाने,या मोरधन की बनाए (चावल की खीर नही बनाए) और सूतक लगने से पहले भोग लगा दे ।फिर कुशा और तुलसी पत्र डालकर अलग रख दे और सूतक काल और ग्रहण काल में स्पर्श नही करे।
ग्रहण समाप्ति के बाद प्रसाद ग्रहण कर सकते है।(दूध ,घी,तेल दोषमुक्त रहते है)(पं कपिल शर्मा काशी)

🌟 *किस राशि पर कैसा असर*🌟
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यह खंडग्रास चंद्रग्रहण मेष राशि, मकर लग्न और अश्विनी नक्षत्र में लग रहा है।
इसके अनुसार विभिन्न राशियों पर इसका भिन्न भिन्न प्रभाव होगा।
*मेष – घात ,वृष – हानि,*
*मिथुन – लाभ, कर्क – सौख्य ,सिंह – मानहानि, कन्या – मृत्युतुल्य कष्ट, तुला – पति पत्नी कष्ट, वृश्चिक – सुख ,धनु – दुःश्चिंता मकर – कष्ट, कुंभ – धनलाभ , मीन – हानि*
(पं कपिल शर्मा काशी)

✅ *क्या उपाय करें*
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खंडग्रास चंद्रग्रहण का असर ग्रहण दिनांक से आगामी तीन माह तक देखा जाता है। अत: जिन राशियों के लिए यह ग्रहण अरिष्टप्रद है वे ग्रहण अवधि में अपने गुरु प्रदत्त मंत्र अथवा, इष्टदेव का मंत्र का जाप करे ,सुंदर काण्ड,राम रक्षा स्तोत्र,विष्णु सहस्त्र नाम,गोपाल सहस्त्र नाम,हनुमान चालीसा का पाठ करे। गुरु द्वारा प्रदत्त मंत्र ही पुण्य दाई होते है वाटस्प पर आए मंत्र मात्र शब्द है अन्य राशि के लोग भी अपने इष्टदेव के मंत्रों का जप करें। ग्रहण समाप्ति के बाद स्नानादि करके देव दर्शन करें,गौ सेवा करे, दान-पुण्य करें।🙏🏻
(पं कपिल शर्मा काशी)