देख तेरे संसार की हालत क्या हो गई भगवान

*देख तेरे संसार की हालत क्या हो गई भगवान*

*पिछले एक दशक से पहले टीवी पर कई कंपनियों ने रुद्राक्ष, यंत्र और शंख बेचे। धर्मशास्त्र की मर्यादाओं का उल्लंघन कर रुद्राक्ष की रेवड़ी बाटी गई ।भोली-भाली जनता भोलेनाथ के प्रेम में ऐसे दीवानी हुई की जान की परवाह किए बगैर मिलो मील का सफर तय कर लिया ,क्या भूख ,क्या प्यास ?*
*इसे विश्वास कहें या अंधविश्वास ?*
*मैंने एक दशक पहले तक किसी भी संत ,महात्माओं को रुद्राक्ष वितरण करते नहीं देखा ।जो लोग शिव मंत्र या शक्ति मंत्र से दीक्षित है। उन्हें उनके गुरु रुद्राक्ष धारण करवाते हैं। रुद्राक्ष धारण करने के नियम है, विधान है एवं सही तरीके हैं ,मैं कुछ प्रश्न आप लोगों के समक्ष रख रहा हूं जो शास्त्रोक्त एवं शास्त्र सम्मत है ।*
*✳️प्रश्न 1- रुद्राक्ष वितरण करने वाले कितने मुखी रुद्राक्ष का वितरण कर रहे हैं? क्योंकि रुद्राक्ष 1 से 14 मुखी तक होते हैं।*

*✳️प्रश्न 2- एक से चौदह मुखी रुद्राक्ष के अभिमंत्रण के मंत्र भी अलग-अलग हैं ।तो क्या यह रुद्राक्ष उन अलग-अलग मंत्रों से अभिमंत्रित किए जा रहे हैं?*

*✳️प्रश्न 3-इतनी बड़ी संख्या में रुद्राक्ष अभिमंत्रन कहां ,कैसे एवं कितने ब्राह्मणों द्वारा करवाया जा रहा है ?रुद्राक्ष वेदोक्त पद्धति से अभिमंत्रित किए जा रहे हैं ,या तांत्रोक्त पद्धति से?*

*✳️प्रश्न 4-इतनी बड़ी संख्या में शत-प्रतिशत शुद्ध एवं असली रुद्राक्ष कहां से आ रहे हैं ?असली रुद्राक्ष पर एक खोल होती है जिसे गर्म पानी में गला कर साफ किया जाता है। फिर पता चलता है कि रुद्राक्ष कितने मुखी है।*

*✳️प्रश्न 5-जो रुद्राक्ष झाड़ पर ही पककर गिरता है वह अधिक शक्तिशाली एवं प्रभावशाली होता है ,एवं जो झाड़ से तोड़ा गया रुद्राक्ष होता है वह कम प्रभावशाली होता है, किंतु रासायनिक खादों से जल्दी- जल्दी रुद्राक्ष पकाकर निकालने की प्रक्रिया क्या सही है?*

*✳️प्रश्न 6-रुद्राक्ष कंठ, मस्तक ,भुजा पर धारण करने के विधान है ।क्या रुद्राक्ष बांटने वाले यह बात भोली-भाली जनता को बता रहे हैं- कि रुद्राक्ष धारण करने के बाद प्याज,लहसुन ,अंडा ,मांस , शराब, परस्त्री गमन यह सभी चीजें त्यागना होती है ।संत महात्मा आशीर्वाद स्वरूप रुद्राक्ष निशुल्क देते हैं, रुद्राक्ष की न्योछावर नहीं मांगते।*

*✳️प्रश्न 7-कोन सा रूद्राक्ष किसे धारण करना चाहिए ?किस रुद्राक्ष से किस समस्या का हल होगा?*

*✳️प्रश्न 8-रुद्राक्ष धारण के क्या-क्या नियम एवं अनुशासन है?*

*अंधविश्वासी न बने ।आप स्वयं शिवपुराण पढ़े एवम् आप स्वयं विचार करे। सनातन धर्म मानव कल्याण के लिए है,ना कि व्यापार के लिए।राजनीतिक दल एवम् राजनेता कथावाचको के माध्यम से अपनी राजनीतिक महत्वाकांक्षा पूरी करने में लगे है। रुद्राक्ष के नाम पर जो पैसे का खेल हो रहा है ,वह दिख तो सबको रहा है पर बोल कोई नहीं रहा।*

रुद्राक्ष की उत्पति महादेव के नेत्रों से निकले आंसू से हुई थी ।रुद्राक्ष सर्व पूज्य है। रुद्राक्ष महादेव का आशीर्वाद है ।किंतु कुछ लोग रुद्राक्ष से लोगों को दिकभ्रमित करने में लगे हैं ।
मुझे जो कहना था या लिखना था ,वह मैंने शास्त्र सम्मत आधार पर लिख दिया है। साथ में अपना फोन नंबर भी डाल रहा हूं ।पर मुझे फोन या मैसेज ना करें ।मैं आपकी किसी समस्या का समाधान नहीं कर सकता। मैं ज्योतिष का विद्यार्थी हूं ।ग्रंथों का अध्ययन करता हूं ।संतों का सानिध्य एवं खूब आशीर्वाद बाल्यकाल से ही प्राप्त हुआ है। इसलिए सच बोलता हूं व सच लिखता हूं।*
आप भी अगर सच जानना चाहते *हैं तो शिव पुराण एवं देवी भागवत पढ़िए ।सही व गलत का निर्णय आप स्वयं कीजिए ।अच्छे तपस्वी संत एवं शंकराचार्य जी की परंपरा का अनुसरण कीजिए और कथा वाचको व संतों में अंतर समझिए।*
*यह लेख मैंने किसी द्वेष या ईर्ष्या के भाव से नहीं लिखा है ।मैंने अपने अध्ययन एवं आज की तात्कालिक परिस्थितियों को देखकर सत्य को प्रकाशित किया है ।मेरी दृष्टि में धर्म मानव कल्याण के लिए है, धंधे के लिए नहीं है।*
*कई सुधिजन पाठको का मुझसे आग्रह है कि में लेख लिखने के साथ ही सोशल मीडिया पर अपने वीडियो अपलोड करू ।इस विषय पर मैं विचार कर रहा हु।
आप चाहे तो मेरे इस इंस्टाग्राम पेज को फॉलो कर सकते है – kapilsharmaa4
मेने जो पड़ा है, सीखा है,समझा है,वो आप लोगो के साथ सांझा करता हु और करता रहूंगा ।मेरा किसी भी व्यक्ति से कोई विरोध नहीं है।
*में सच बोलने का आदि हु।*
*मेरे शहर का सबसे बड़ा फसादी हु।।*
*पं कपिल शर्मा (काशी)*
*Mo-9630101010*
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